उत्तराखंड सहित कई राज्यों में द लोनी अर्बन मल्टी स्टेट क्रेडिट एंड थ्रिफ्ट (LUCC) को-ऑपरेटिव सोसाइटी के संचालकों द्वारा निवेशकों के साथ की गई धोखाधड़ी से जुड़ी शिकायतों के मामले अब केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) को सौंपे जाने की मंजूरी मिल गई है।
LUCC ने करीब 2 लाख निवेशकों को विभिन्न योजनाओं जैसे आरडी, एफडी और एमआईपी के नाम पर करीब 500 करोड़ रुपये से अधिक की ठगी की है। उत्तराखंड के सात जिलों में इस सोसाइटी के खिलाफ कई मामले दर्ज हैं।
अधिकांश शिकायतों में बताया गया है कि सोसाइटी ने निवेशकों को झूठे दस्तावेज दिखाकर और सहकारिता मंत्रालय से जुड़ी होने का झूठा दावा कर उनसे पैसा जमा करवाया। लंबे समय से आक्रोशित निवेशक और जनप्रतिनिधि सरकार पर सीबीआई जांच की मांग कर रहे थे। सरकार ने इन दबावों के बाद इस मामले की जांच सीबीआई को सौंपने का निर्णय लिया है।